केन्द्र और दिल्ली की काफ़ी कशमकश के बाद पेश हुआ है दिल्ली का बजट

अरविंद केजरीवाल ने विधानसभा में चर्चा के दौरान केंद्र पर निशाना साधा

नई दिल्ली (संवाददाता )

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्र सरकार पर दिल्ली का बजट रोकने का आरोप लगाया था। सूचनाओं के अनुसार गृह मंत्रालय ने दिल्ली सरकार से विज्ञापन समेत तीन मुद्दों पर जवाब मांगा था। इस पर दिल्ली सरकार ने जवाब नहीं दिया था। इसलिए बजट अप्रूव नहीं हो सका था। मंगलवार को केंद्र से मंजूरी मिलते ही अरविंद केजरीवाल ने विधानसभा में चर्चा के दौरान केंद्र पर निशाना साधा। उन्होंने कहा- हमने मंगलवार को बजट में उनकी आपत्तियों को बिना बदले दोबारा भेजा और उन्होंने इसे मंजूरी दे दी। इतना अहंकार ठीक नहीं है। केजरीवाल ने गृह मंत्रालय की आपत्तियों को लेकर कहा- बजट में बुनियादी ढांचे के लिए 20 हजार करोड़ आवंटित किए गए थे, विज्ञापन के लिए 500 करोड़। हमने कभी नहीं सुना कि 500 करोड़ 20 हजार करोड़ से अधिक हैं। केंद्र सरकार ने नीचे से ऊपर तक अनपढ़ों की जमात बैठा रखी है। केजरीवाल ने कहा कि हम प्रधानमंत्री के साथ मिलकर काम करना चाहते हैं, हम कोई झगड़ा नहीं चाहते हैं। उन्होंने कहा कि अगर प्रधानमंत्री दिल्ली जीतना चाहते हैं तो उन्हें पहले शहर के लोगों का दिल जीतना होगा। केजरीवाल के बयान पर दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर ऑफिस ने स्टेटमेंट जारी किया। जिसमें बताया गया कि एलजी वीके सक्सेना ने बजट पास कर कुछ नोट्स जोड़कर उसे 9 मार्च को दिल्ली सरकार के पास भेज दिया था। दिल्ली सरकार ने फिर इसे राष्ट्रपति से अप्रूव कराने के लिए गृह मंत्रालय को भेजा था।

एलजी ऑफिस से स्टेटमेंट जारी होने के बाद फाइनेंस मिनिस्टर कैलाश गहलोत ने देर शाम बयान जारी किया। उन्होंने कहा कि गृह मंत्रालय ने बजट को लेकर अपनी कुछ चिंता जाहिर की थी और 17 मार्च को चीफ सेक्रेटरी को एक लेटर भेजकर बजट को अप्रूव करने से इनकार कर दिया था। लेकिन, दिल्ली के चीफ सेक्रेटरी ने तीन दिन तक इस लेटर को अपने पास छिपाकर रखा। मुझे इस लेटर के बारे में सोमवार दोपहर 2 बजे पता चला। मुझे शाम 6 बजे यह फाइल मिली और हमने रात 9 बजे तक गृह मंत्रालय की सारी चिंताओं को लेकर अपना जवाब एलजी ऑफिस को भेज दिया था। दिल्ली के बजट को लेट कराने में दिल्ली के चीफ सेक्रेटरी और फाइनेंस सेक्रेटरी की भूमिका की जांच की जानी चाहिए। इस पर एलजी ऑफिस ने जवाब दिया कि हमें रात 9:25 बजे फाइल मिली और एलजी के अप्रूवल के बाद इसे 10.05 बजे मुख्यमंत्री कार्यालय भेज दिया गया था। दिल्ली में उपराज्यपाल और मुख्यमंत्री की राजनीतिक लड़ाई हमेशा चर्चा में रहती है।  दिल्ली सरकार ने पुरानी एक्साइज पॉलिसी को छह महीने और बढ़ा दिया है। साथ ही मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अधिकारियों को नई पॉलिसी बनाने को कहा है।

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