मेरा बोलना भाजपा को पसंद नहीं आता है और मैं नहीं पीएम करते हैं देश का अपमान : राहुल गांधी
अमेरिका सहित दुनिया के लोकतांत्रिक देश यह नोटिस करने में विफल रहे कि भारत का लोकतंत्र खतरे में है।

नई दिल्ली (दिल्ली डेस्क )
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने लंदन में दिए गए भाषण को लेकर न सिर्फ़ अपनी सफाई दी है बल्कि पीएम मोदी और भाजपा सरकार पर अनेक आरोप जड़ते हुए उसे कटघरे में खड़ा किया है। राहुल गांधी ने कहा कि मेरे भाषण में ऐसी कोई चीज़ नहीं थी जो मैंने पब्लिक रिकॉर्ड से नहीं निकाली। सब कुछ यहां-वहां से जुटाया था। यह पूरा मामला डिस्ट्रैक्ट करने का है। दरअसल, प्रधानमंत्री अडाणी के मुद्दे से डरे हुए हैं। वे बताएं कि अडाणी से उनका क्या रिश्ता है-? राहुल गांधी ने यह सारी बातें प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहीं। साथ ही कहा कि लंदन में दिए गए भाषण के मुद्दे पर संसद में विस्तार से जवाब दूंगा। मैं सांसद हूं और संसद मेरा मंच है। राहुल गांधी ने कहा कि अडाणी को श्रीलंका, बांग्लादेश और ऑस्ट्रेलिया में ठेके मिल रहे हैं। प्रधानमंत्री जी और ऑस्ट्रेलिया के पीएम के बीच क्या बात हुई पीएम जी उसके जवाब नहीं दे पाए। मैं लोकसभा का सदस्य हूं। मेरी जिम्मेदारी अपनी बात संसद में रखने की है। मुझे कल संसद में अगर बोलने का मौका मिलता है तो वहां मैं डिटेल में इस विषय पर अपनी बात रखूंगा। हालांकि लगता है कि वे मुझे पार्लियामेंट हाउस में बोलने नहीं देंगे। इससे पहले संसद के बाहर राहुल ने कहा था- मैंने लंदन में भारत के ख़िलाफ़ कुछ नहीं कहा था। अगर संसद में मुझे बोलने का मौका मिलेगा, तो मैं अपनी बात रखूंगा। उन्होंने आगे कहा कि मेरा बोलना भाजपा को पसंद नहीं आता है और मैं नहीं पीएम करते हैं देश का अपमान। मुझे याद है कि पिछली बार प्रधानमंत्री ने विदेश जाकर घोषणा की थी कि आजादी के सत्तर साल में कुछ नहीं हुआ। उन्होंने कहा था कि हमने एक दशक खो दिया है। भारत में बेहिसाब भ्रष्टाचार है। यह सब उन्होंने विदेश में कहा था। मैंने कभी अपने देश का अपमान नहीं किया। मैं ऐसा कभी नहीं करूंगा। जब वे कहते हैं कि सत्तर साल में कुछ नहीं हुआ, तो क्या यह हर भारतीय का अपमान नहीं है-?” कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि यदि कोई पीएम नरेंद्र मोदी का सपोर्टर है, तो उसका भी आंख मूंदकर समर्थन किया जाता है। इसका उलटा जो लोग उन पर या उनकी सरकार पर सवाल उठाते हैं, उस पर हमला किया जाता है। कुछ ऐसा ही ब्रिटिश ब्रॉडकास्टिंग कॉर्पोरेशन बीबीसी के साथ हुआ है। बीबीसी ने गुजरात दंगों पर डॉक्यूमेंट्री बनाई और मोदी ने सरकार ने विवाद पैदा कर दिया। इसे एक प्रोपेगैंडा बताया। राहुल गांधी से जब यह पूछा गया कि वे अगले पीएम उम्मीदवार होंगे, इस पर उन्होंने कहा- मेरा पीएम कैंडिडेट होना चर्चा का विषय नहीं है। विपक्ष का सेंट्रल आइडिया भाजपा और आरएसएस को हराना है। भारत में हम भाजपा और आरएसएस के खिलाफ लड़ रहे हैं। इन दोनों ने देश में सभी सरकारी संस्थाओं पर कब्जा कर रखा है। यूके में संस्थाएं स्वतंत्र हैं और दो पार्टियां आपस में लड़ती हैं, लेकिन भारत में विपक्ष भाजपा, आरएसएस के साथ-साथ सरकारी संस्थाओं से भी लड़ रहा है। भाजपा चाहती है कि भारत में दलित, आदिवासी, मीडिया और बाकी सभी लोग शांत रहे। वे इसलिए ऐसा चाहते हैं ताकि भारत में जो कुछ भी है, उसे ले सकें और अपने चार पांच करीबियों को सौंप सकें। अमेरिका सहित दुनिया के लोकतांत्रिक देश यह नोटिस करने में विफल रहे कि भारत का लोकतंत्र खतरे में है।