पुलिस की गाड़ी का पहिया नहीं फिसला बल्कि अतीक अहमद को सरेआम हत्यारों ने गोलियां मारी

अब अतीक के नाबालिग बच्चों की भी हत्या हो जाएगी : रामगोपाल यादव

नई दिल्ली/लखनऊ/इटावा (एप ब्यूरो)

यूपी में अतीक़ अहमद हत्याकांड की चर्चा चारों तरफ हो रही है और कहा जा रहा है कि जो पहले से सोचा जा रहा था अतीक अहमद के साथ वही हुआ बस इतना अंतर हुआ है कि इसमें पुलिस की गाड़ी का पहिया नहीं फिसला बल्कि उसके सामने ही कुछ हत्यारे गोलियां दाग गये। पुलिस अपनी कस्टडी में उसे अस्पताल ले जा रही थी। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में शनिवार रात क़रीब 10.30 बजे अतीक़ अहमद और उनके भाई अशरफ़ की गोली मारकर हत्या कर दी गई। ये पूरी घटना लाइव कैमरों में कैद भी हुई। वारदात के वक्त अतीक़ और अशरफ़ पैदल चलते हुए मीडिया से बात कर रहे थे। अतीक अहमद का जन्म 12 अगस्त 1962 को हुआ था और मृत्यु 15 अप्रैल 2023 को हुई। उत्तर प्रदेश के बाहुबली मुस्लिम नेता थे। जो समाजवादी पार्टी से सांसद और उत्तर प्रदेश विधानसभा के सदस्य रह चुके थे। अतीक अहमद की 15 अप्रैल 2023 को पुलिस की सुरक्षा में लापरवाही की वजह से उसे जाँच के लिए अस्पताल ले जाते समय कायर की तरह लवलेश तिवारी, सनी और अरुण मौर्य अपराधिक शूटर के द्वारा पुलिस सुरक्षा के बीच गोली मार कर हत्या कर दी गई और साथ में इसके भाई अशरफ की भी निर्मम हत्या कर दी गई है। हत्यारों की उम्र 18, 22 और 23 साल बताई गई है। इस घटना पर विपक्षी नेताओं ने उत्तर प्रदेश की कानून-व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं। और तरह तरह से अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। अतीक और उसके भाई अशरफ की सरेआम की गई हत्या को लेकर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय प्रमुख महासचिव रामगोपाल यादव ने बड़ा बयान दिया है। रामगोपाल यादव ने कहा कि अतीक और उनके भाई अशरफ की हत्या पूरी तरह से सुनियोजित तरीके से की गई है। यादव ने प्रदेश की बीजेपी पर बड़ा आरोप लगाया और कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जिस तरह से कहा था कि मिट्टी मे मिला देंगे, यह एक तरह से मुख्यमंत्री का आदेश या फरमान था। जो कुछ हुआ है यह उत्तर प्रदेश के इतिहास में पहली बार हुआ है। रामगोपाल ने कहा कि इलाहाबाद में चर्चा है कि अतीक के नाबालिग बच्चों की भी हत्या हो जाएगी। इंडिया टीवी के अनुसार रामगोपाल यादव ने कहा कि यह घटना लोकतंत्र के ख़ात्मे की तरफ ले जाने वाली घटना है उन्होंने कहा कि मीडिया ट्रायल की वजह से अतीक को मारा गया है। अतीक को तो सिर्फ एक केस में ही सज़ा हुई थी, लेकिन मीडिया ने अतीक को माफिया बना दिया था। कहा गया है कि मुख्यमंत्री के कुछ निकट के बड़े अधिकारी माफियाओं के साथ मिले हुए हैं और वही ये धंधा  कर रहे हैं। उन्हीं के हाथों यह सब होना था। अगर जांच करने वाली एजेंसी सही होगी तो बड़े से बड़े लोग फंस जायेंगे। अतीक 89, 91, 93 में निर्दलीय विधायक बने थे, फूलपुर से सपा से सांसद रहे। उन्होंने सवाल उठाया कि तो क्या कोई गुंडा बदमाश इतने चुनाव जीत सकता है। उन्होंने कहा कि अतीक का मैं डिफेंस नही कर रहा लेकिन भारत का संविधान किसी को पकड़ कर मारने की इजाज़त नहीं देता है।

सपा नेता अखिलेश यादव ने कहा है कि उप्र में अपराध की पराकाष्ठा हो गयी है और अपराधियों के हौसले बुलंद है। जब पुलिस के सुरक्षा घेरे के बीच सरेआम गोलीबारी करके किसी की हत्या की जा सकती है तो आम जनता की सुरक्षा का क्या। इससे जनता के बीच भय का वातावरण बन रहा है, ऐसा लगता है  कुछ लोग जानबूझकर ऐसा वातावरण बना रहे हैं।

स्वरा भास्कर ने अतीक-अशरफ़ की हत्या पर कहा है कि ये मज़बूत शासन नहीं अराजकता है।

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